दम मारु दम बस दम मारु दम बाबा भोलेके छै प्रसाद तब कथिके छै गम दम मारु दम बस दम मारु दम हम ना समझ छि आ हम छि अज्ञानी बाबा भोले छथि तिनो लोकके स्वाभिमानी…
Read moreहे, भोलेदानी, अहीं जगजानी, छी अहीं, महादानी,यौ । यौ सुनियौ हमर गुहार । यौ सुनियौ--- हे, मृगपाणी , अहीं शूलपाणी, अहींक भक्ति में लीन रहैत अछि सब प्राणी…
Read moreहे प्रभु आजू शिव रात्री के दिन छैक अहाँ भाङ्ग पिके भकुवाएल छि किऐ भक्त सब जल लेने आबिगेल अहाँक दुवार अहाँ कैलाश पर्वत मे जाके नुकाएल छी किए भाङ्ग धतु…
Read moreचलु गौरी फेरो ओहि मिथिला अंगना ! बनल रहियै हम ओतइ उगना !! कैलाशो हमरा आब निक नै लगैया ! मिथिले में रहबै मिल'क दुनु जना !! जहिए सँ हम एलौ भाँ…
Read moreकोन आँखि खोललियै भोला, थरथर कापै संसार ! खोलि दियौ दयाकें आँखि भोला, जग होईय अन्हार !! पानि बिनु जीव तड़पै, असारमे बर्खा रुकलै ! कहि दियौं इन्द्रसँ …
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