वर्षो - व र्षतक करैत ऐलीयौ, पहड़िया शासक के गुलामी ! आब नै करबौ तोहर शासक के गुलामी !! मधेशकऽ माटि पऽ पहड़िया , प्रशासन खेलैत ऐलै खूनकऽ होली ! आब …
Read moreमाथ उघारने ऐठ कऽ चलै कनिया ! हरदम बिखे बोली उगलै कनिया !! लागै लाज सरम सब धो कऽ पी लेने ! भैसुर संग हँसि - हँसि बोलै कनिया !! भाई - भाई में युद्ध बिखण…
Read moreकानि उठल ई धरती आश्मान , भगवानक' अजीब लीला देखिकऽ ! जिनका भगवान मानैत छल सब , चलि गेल सबके अकेला छोड़िक' !! किया आइल ई बर्वादिक राति …
Read moreपरदेशी यौ परदेशी ! परदेशी !! परदेशी !!! बैरी बैमनवां हमरो सजनावां सुति भुलैली की यौ बलमुवां परदेशी .............. सुन-सुना अँगना छै अहाँक बिना नि…
Read moreनितदिन ई बन्द हड़ताल किया ? अइ कोठी धान ओइ कोठी चाउर किया ? सत्ताके पाछु मरल गरीब जनता , नेताके चाहि अधिकार किया ? आम नागरिक भेल छै तवाह एत: उ मौज करैय…
Read moreहँसैत - हँसैतमें छीन लैत अछि भत्ता ! फेरसँ जिनगीमें लाधि दैत अछि जत्ता !! कहियो उच तऽ कहियो नीच कैह् के ! एक आपसमें लड़ाबि दैत अछि सत्ता !! ख…
Read moreहृदयमें घर बनाक ऽ प्रेमक ऽ संगीत सँ सजेलौं अहाँ ! फेर नाजुक दिल हमर तोड़ि कत चलि गेलौं अहाँ !! हर एक साँस प ऽ अहिंके नाम लिखने छलौं प्रिय ! स्नेहक ऽ …
Read moreआँखि बंद करैत छी तऽ , अहिंक ऽ चेहरा नज़र अबैत अछि ! नजाने किया हर जगह हमरा , अहिंक ऽ तस्बिर नज़र अबैत अछि !!
Read moreप्रेमक पटरी पर चहड़ि गेलौं, अहाँक हाथ पकड़ि लेलौं ! चाहे दुनियाँ आब किछ कहे, हम तऽ अहाँके जीवनसाथी मानि लेलौं !!
Read moreमाई अहाँक नेह अनमोल , जेकर नै रहल कोनो मोल ! सौसे दुनिया हम घुमि एलौं , मिल ऽ ल नै कतौ एहन स्नेह !! मिठगर बोली रातिक ऽ लोरी , आरे निन्दिया चोरी - चोर…
Read more© All Copyrights reserved to Mithilanchal Shayari | Designed by Anand Sharma
Social Plugin